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रविवार, 16 अक्टूबर 2022

जिस तहसील का शुभारम्भ क्षेत्र की आम जनता ने किया उसको पुनः सीएम से करवाना क्या जनता से बड़े हो गए सीएम -विधायक कही न कहीं सीएम को गुमराह कर रहे - हेमलाल वर्मा

लाल बहादुर नगर तहसील का पुनः उद्घाटन करवाना दुर्भाग्य जनक

 लाल बहादुर नगर तहसील के लिए क्षेत्र की जनता ने जब 1 सितम्बर को आंदोलन की चेतावनी दिए तब 9 सितम्बर को तहसील पुनर्गठन का प्रकाशन किया गया और क्षेत्र की जनता के दबाव मेे 15 सितम्बर को आदेश क्रमांक 7200/52 लाल बहादुर नगर तहसील के लिए नायाब तहसीलदार श्री भूपेन्द्र नेताम की नियुक्ति आदेश जिलाधीश द्वारा किया गया और 16 सितम्बर को क्षेत्र के ग्रामीणों ने आंदोलन की और उस आंदोलन स्थल पर पहुंच अनुविभागीय अधिकारी राजस्व डोंगरगढ़ ,अनुविभागीय अधिकारी पुलिस डोंगरगढ़ तहसीलदार डोंगरगढ़ की उपस्तिथि में क्षेत्र की जनता और किसानों ने नायाब तहसीलदार श्री नेताम को कार्यलय मेे बैठाया और उस तहसील का विधिवत उद्घाटन किया गया और उस दिनांक के बाद से आज तक लगातार नायाब तहसीलदार उस कार्यलय मेे बैठ अपने अन्य अमले के साथ क्षेत्र के किसानों के नामांतरण ,बंटवारा, आय प्रमाण पत्र जाति प्रमाण पत्र का कार्य लाल बहादुर नगर तहसील का सिल सिक्का लगाकर सुचारू रूप से संपादित कर रहे हैं,उसी तरह अन्य पेशी विवाद सम्बन्धी सभी कार्य के लिए पक्षकार लोगो को अब डोंगरगढ़ न जाकर लाल बहादुर नगर मेे ही पिछले एक माह से संपादित किया जा रहा है। इस पर क्षेत्र के किसान नेता हेमलाल वर्मा ने आरोप लगाते हुए कहा कि डेढ़ साल तक सोने वाले विधायक अब 17 अक्टूबर को सीएम साहब के माध्यम से वर्चुवाल उस कार्यालय का पुनः उद्घाटन करवा कर विधायक दलेश्वर साहू किस बात का श्रेय लेना चाहते है और जिस दिन अधिकारी और क्षेत्र की जनता ने उस कार्यालय का उद्घाटन किया उस दिन विधायक और कांग्रेस से जुड़े जनप्रतिनिधि ,जनपद पंचायत अध्यक्ष कहा गायब थे क्या सरकार के अधिकारी ने उनकी बिना अनुमति के कार्यालय का उद्घाटन किया या खुद क्षेत्र की जनता की नाराज़गी नहीं झेल पा रहे थे जो गायब रहे और आज इस तरह गुपचुप तरीके से वार्चुवल उद्घाटन क्यो किया जा रहा है क्या विधायक माननीय मुख्यमंत्री जी को गुमराह कर तहसील कार्यालय का पुनः उद्घाटन करवा रहे और ओ भी वर्चूवल क्यो उस समय तो जनता को लगातार बोला जा रहा था कि सीएम साहब स्वयं आ कर उद्घाटन करेंगे और उस दिन भी उस कार्यालय उद्घाटन को रोकने का घिनौना प्रयास किया परन्तु क्षेत्र की जनता के आक्रोश के सामने अधिकारी भी झुके और आनन फानन में कार्यालय का उद्घाटन किया। अगर पुनः जनता द्वारा किए गए उद्घाटन को पुनः उद्घाटन करवाना मतलब क्षेत्र की जनता का अपमान है और आने वाले समय में क्षेत्र की जनता इस अपमान का बदला विधायक दलेश्वर साहू से जरूर लेगी।

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